वाशिंगटन। हाल के दिनों में अमरीका में रह रहे भारतीयों पर हमले के मामले बढ़ गए हैं। इस पर अमरीकी सरकार ने चिंता जताई है। व्हाइट हाउस ने कहा है कि अमरीका में नस्ल, लिंग या किसी भी आधार पर हिंसा अस्वीकार्य है। अमरीकी नेशनल सिक्योरिटी काउंसिल के प्रवक्ता जॉन किर्बी ने कहा कि अमरीकी राष्ट्रपति जो बाइडेन और उनका प्रशासन इन हमलों को रोकने की पूरी कोशिश कर रहा है। उन्होंने कहा कि खुद राष्ट्रपति बाइडेन भी परेशान हैं और किसी भी भेदभाव के आधार पर भारतीयों पर हमला बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। किर्बी ने कहा कि अमरीकी राष्ट्रपति जो बाइडेन के शासन में हिंसा की कोई जगह नहीं है। उन्होंने कहा कि नस्ल या लिंग या धर्म या किसी अन्य कारक पर आधारित किसी तरह की हिंसा के लिए कोई बहाना नहीं चल सकता है। यह संयुक्त राज्य अमरीका में बिलकुल अस्वीकार्य है। किर्बी का यह बयान तब आया है, जब वाशिंगटन में प्रेस ब्रीफिंग के दौरान संवाददाताओं ने उनसे भारतीय छात्रों पर हो रहे लगातार और सिलसिलेवार हमलों के बारे में पूछा। इस पर उन्होंने कहा कि राष्ट्रपति बाइडेन और उनका प्रशासन भारतीय और भारतीय अमरीकी छात्रों पर हमलों को विफल करने और बाधित करने की कोशिशों में जुटा है। बता दें कि अमरीका में महीने भर के अंदर चार भारतीय छात्रों और तीन भारतीय मूल के लोगों की हत्या हो चुकी है। एक अन्य भारतीय छात्र पर भी हमला हुआ है।
वहीं, विदेश मंत्री एस जयशंकर ने भी इस बात पर विशेष जोर दिया कि उनकी सरकार विदेश में रह रहे भारतीय विद्यार्थियों की सुरक्षा को लेकर प्रतिबद्ध है। नवंबर, 2023 की ओपन डोर्स रिपोर्ट के अनुसार, यूएस में कुल विद्यार्थियों में से 25 फीसद भारतीय मूल के विद्यार्थी हैं। एक रिपोर्ट के मुताबिक, अमरीका जाकर उच्च शिक्षा ग्रहण करने वाले भारतीय विद्यार्थियों की संख्या में 35 फीसदी की बढ़ोतरी देखने को मिली है। शैक्षणिक वर्ष 2022-23 में 2,68,923 छात्रों की अब तक की सबसे अधिक संख्या हुई। पिछले साल, भारत में अमरीकी वाणिज्य दूतावास ने दुनिया के किसी भी अन्य देश की तुलना में 140,000 से अधिक छात्र वीजा जारी किए और लगातार तीसरे वर्ष एक रिकॉर्ड स्थापित किया।