गुवाहाटी। असम सरकार के किसी भी कर्मचारी को दूसरी शादी करने की अनुमति नहीं दी जाएगी, भले ही उनके धर्म में इसकी इजाजत क्यों न हो। असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा ने शुक्रवार को यह जानकारी दी। उन्होंने कहा कि दूसरी शादी के लिए व्यक्ति को सरकार से अनुमति लेनी होगी। सीएम ने कहा कि हमें ऐसे मामले मिलते हैं, जहां मुस्लिम पुरुष दो महिलाओं से शादी करते हैं और बाद में दोनों पत्नियां एक ही व्यक्ति की पेंशन के लिए लड़ती हैं। यह कानून पहले से ही था, अब हमने इसे लागू करने का फैसला किया है।
सर्कुलर (परिपत्र) में कहा गया है कि इसी तरह, कोई भी महिला सरकारी कर्मचारी सरकार की अनुमति के बिना किसी ऐसे व्यक्ति से शादी नहीं करेगी, जिसकी पत्नी जीवित है। असम सरकार ने अब दूसरी शादी को लेकर 58 साल पुराना कानून लागू करने का फैसला किया है। असम सरकार ने अपने कर्मचारियों को जीवनसाथी के जीवित रहने पर किसी अन्य से शादी करने से रोक दिया है और दूसरा विवाह करने पर दंडात्मक कार्रवाई की चेतावनी दी है।